शनिवार, जनवरी 03, 2009

भिखमंगों का धर्म ?

अक्सर आतंकवाद पर बहस होती है कि आतंकवादियों का कोई धर्म नहीं होता . मान लिया . पर धर्म होता किसका है ? भिखमंगों का ?
जब मैं छोटा था पूर्णागिरि जाने का मौका मिला . नानी और मामा साथ में थे . नानी को पहले से मालूम था कि वहाँ पर बहुत भीख माँगने वाले बैठे मिलेंगे इसलिए उन्होंने पहले से ही कुछ सिक्के मुझे और कुछ मेरे ममेरे भाई को दे दिए थे . हमें कहा गया कि ऊपर चढते समय और वापस उतरते समय हमें अपनी मरजी से यह पैसे देने थे पर ध्यान रखना था कि नौटंकीबाज भिखमंगों की बजाय यह सिर्फ ऐसे भिखमंगों को दिया जाय जो अपंग हों . हमने अपनी बालबुद्धि से निर्णय करके पैसे देना जारी रखा . हम यह भी चाहते थे कि पैसा लौटते समय ही खत्म हो .
हालाँकि हम कुछ बीस पैसे या बहुत हुआ तो पचास पैसे से ज्यादा एक भिखमंगे को नहीं दे रहे थे . फिर भी अगर सच पूछा जाय तो हमें खुद के दानी होने का भ्रम हो गया था . किंतु एक भिखमंगे ने सारा घमण्ड चूर चूर कर दिया . हुआ यूँ कि जैसे ही हमने उसके कटोरे में बीस पैसे डाले और आगे बढे वह पीछे से चिल्लाया , " अरे पैसे कम हों तो हमसे लेजाओ ! " हमने उससे कुछ लिया तो नहीं था . हाँ कुछ दिया ही था . इसलिए हमारी मति से उसे चिल्लाना नहीं चाहिए था . और न ही हमें कोई शर्मिन्दा होने की आवश्यकता थी . पर हम शर्म से धरती में ऐसे गढे जा रहे थे जैसे हमारे हाथों बहुत बडा अपराध हो गया हो .
इस घटना को आज सत्रह साल बीत चुके हैं . पर लगता है कल की ही बात हो . बाद में किसी ने बताया कि भीख माँगना एक धन्धा बन गया है . बातों बातों में यह भी जाना कि सिक्ख कभी भीख नहीं माँगते . हालाँकि इस तथ्य पर मुझे पहले पूरा विश्वास न हुआ . पर अब तक यह तथ्य कभी झूठ भी साबित नहीं हुआ . इसलिए अब विश्वास होने लगा है . हिन्दू भीख माँगते देखे हैं , मुसलमान भी देखे हैं पर सिख आज तक नहीं देखे .
जैसे जैसे यह विश्वास पुख्ता होता जाता है . सिक्खों पर श्रद्धा बढती जाती है . ईश्वर करे मेरा विश्वास सच हो . सोचता हूँ जब सिक्ख बगैर भीख माँगे रह सकते हैं तो हिन्दू व मुसलमान क्यों नहीं ?

17 टिप्‍पणियां:

  1. गरीबी का भी कोई धर्म नहीं होता.. वैसे ये भी एक व्यवस्थीत व्यवसाय हो गया.. उनको पता है कि कौन पिघलेगा. कौन किस फरियाद पर पिघलेगा और कौन झासें में नहीं आयेगा..

    मैने भी कभी सिक्ख को भीख मांगते नहीं देखा..

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  2. बहुत खूब, बधाई।

    नव वर्ष की हार्दिक शुभकामनाऍं।

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  3. अगर कोई फाईल कर्पट हो गया है या डीलीट हो गया है जीसकी वजह से टाईम्जोन पर नही जा पा रहे हैं तो

    स्टार्ट मेन्यू मे जा के RUN मे जाएं और उसमे यह टाईप कर के ओके कर दें

    sfc /scannow


    यह एक्सपी का सीडी डालने के लीये कहेगा और जीतने भी खराबी होगी या कोई वायरस भी होगा तो यह उसे भी ओवर राईट कर देगा।
    सिर्फ सीस्टम फाईल मे जो वायरस होंगे उसे ही हटाएगा। और खराब फाईलों को ठीक कर देगा।

    आज मेरा नेट 1बजे तक कट जाएगा।

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  4. विवेक जी,
    सही कह रहे हो. एक बार हम दो दोस्त बस से यात्रा कर रहे थे. ड्राईवर सरदार था. मेरा मित्र सरदार को देखकर आदतन कमेन्ट करने लगा. जब हम उतरने लगे, तो ड्राईवर ने हमें बुलाया और कहा कि ये लो एक रूपये का सिक्का, जहाँ भी कोई सरदार भीख मांगता दिखे, उसे दे देना.
    तो भाई, ये है बात. सरदार भले ही किसी चौराहे पर बैठकर ताला चाबी का काम करता हो, लेकिन भीख नहीं मांगता.

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  5. बीस पैसे देकर आपने इतने बडे इन्टरनेशनल बिजनैस की तौहीन की तो सामने वाला बोलेगा तो सही. वहां बैठने का किराया कितना है? ये पूछा होता तो शायद आप ऐसा नही करते. :)

    बहुत संगठित व्यापार हो चला है ये भीख मांगने का धन्धा और अभी मुनाफ़ा भी अच्छा बना हुआ है. धीरे धीरे जब ये किराये बढ जायेंगे, मसलन बच्चे का किराया.. जगह का किराया..मेक अप का सामान..तब मार्जिन थोडे कम हो जायेंगे. पर फ़िर भी व्यापार का स्कोप आगे भी काफ़ी अच्छा है.

    रामराम.

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  6. बहुत सुंदर.....अच्छा लगा पढ़ कर...

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  7. एक कटु हकीकत को बयान किया है आपने, भीख मांगना एक व्यवसाय ही बन चुका है मैंने तो यह भी सुना है कि कई जगह मेलों आदि में इसके लिए बाकायदा बोली लगाकर ठेगा तक छूटता है !

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  8. हिन्दुओं मे जोगी ,मुसलमानों मे फकीर जैसी कई बिरादरी है जो भीख पर ही आश्रित है . भीख मांगना उनका पेशा है . आज भी २५ पैसा पर हेड उनका रेट है हफ्ते मे एक दिन आते है .

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  9. आपका शुक्रिया. हमारा भी कुछ आप जैसा ही विचार था, बस ब्लॉग की दुनिया में नया होने के कारण ब्लॉग सम्बन्धी कुछ परम्पराओं का पालन नहीं कर पाते हैं. आप सबकी सलाह, विचार का हमेशा स्वागत है.

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  10. ’मुझसे ही लेते जाओ’ का जुमला सार्वत्रिक लगता है. मेरे कस्बे का भी एक भिखारी-जो अपने को कुछ साल पहले का स्वर्णकार कहता है और तुरन्त का भिखमंगा- ऐसे ही एक रूपये के सिक्के को गौरवपूर्ण भाव से लौटा देता है, और अपनी झोली के सिक्कों को दिखाकर कहता है-’मुझसे ही लेते जाओ’.

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  11. shukar karo usane ye nahi kaha ki aap bhee hamare sath bith jao. varna ganganagar me to do char suna hee dete. narayan narayan

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  12. हरिद्वार या दक्षिण के मन्दिर भी जायेगे तो ऐसा लगेगा की मोक्ष के रास्ते में कैसे कैसे लोग बैठे है...

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  13. धीरू सिंह से सहमति है लेकिन पंजाब में कुछ सिक्ख भिखारी हैं रिक्शा चालन व अन्य छोटे धंदों से जुड़े सिक्ख भी लेकिन इनका प्रतिशत इतना कम है कि ये नज़र ही नहीं आते फिर भी कुल मिला कर अच्छी स्थिती बनाते हैं अधिकतर मेहनत की खाते हैं

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  14. जानकारी में वृद्धि हुयी -शुक्रिया !

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  15. वाकई मैंने भी किसी सिख को भीख मांगते नहीं देखा

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